गढ़बो डिजिटल छत्तीसगढ़ रू उम्र नहीं है बाधा, लक्ष्य अपनी मेहनत से साधा 

रायपुर। गढ़बो डिजिटल छत्तीसगढ़ की ऑनलाइन परीक्षा में कई रोचक नजारे देखने को मिले। कहीं पर तीन बहनों, देवरानी-जेठानी, मां-बेटी, घायल शिक्षार्थी, ननंद-भाभी और कहीं पर अधिक उम्र के शिक्षार्थी ने दी ऑनलाइन परीक्षा। ई-साक्षरता केन्द्र के 9वें बैच की सबसे सक्रिय और जिज्ञासु 52 वर्षीय श्रीमती सीमा देवांगन ने 30 दिवसीय पाठ्यक्रम पूर्ण करने के पश्चात् बाह्य मूल्यांकन में शामिल होकर सफलता प्राप्त की। सफलता प्राप्ति के बाद उन्होंने भावविभोर हो कर कम्प्यूटर स्क्रीन को नमन किया। इसी प्रकार श्रीमती पूजा चौहान, लता, अंजली और मनीषा चौहान जो रिश्ते में देवरानी-जेठानी है ने आज आनलाईन बाह्य मूल्यांकन में सफलता अर्जित कर गढ़बो डिजिटल छत्तीसगढ़ की सार्थकता को नया अर्थ प्रदान किया है।
ई-साक्षरता केन्द्रों में ऑनलाइन बाह्य मूल्यांकन 28, 29 और 30 जनवरी को आयोजित किया गया। ‘‘गढ़बो डिजिटल छत्तीसगढ़‘‘ मुख्यमंत्री शहरी कार्यात्मक साक्षरता कार्यक्रम अन्तर्गत छत्तीसगढ़ के सरगुजा और बिलासपुर संभाग के जिलों में 28 जनवरी,  रायपुर, दुर्ग संभाग के जिलों में 29 जनवरी तथा बस्तर संभाग के जिलों में 30 जनवरी को छत्तीसगढ़ इन्फोटेक प्रमोशन सोसायटी (ब्ीपचे) द्वारा आयोजित ऑनलाइन बाह्य मूल्यांकन में लगभग 2 हजार शिक्षार्थी शामिल हुए।
उल्लेखनीय है कि स्कूल शिक्षा मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह के कुशल मार्गदर्शन और राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण के संचालक एवं सदस्य सचिव एस. प्रकाश के निर्देशन में देश में पहली बार शहरी क्षेत्र के डिजिटल असाक्षरों के लिए गढ़बो डिजिटल छत्तीसगढ़ मुख्यमंत्री शहरी कार्यात्मक साक्षरता कार्यक्रम अंतर्गत छत्तीसगढ़ में 36 केन्द्र प्रारंभ किए गए है। एस. प्रकाश ने बताया कि मार्च 2020 तक लगभग 3 हजार शिक्षार्थियों को डिजिटल साक्षर बनाए जाने का लक्ष्य है।
राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण के नोडल अधिकारी प्रशांत कुमार पाण्डेय ने बताया कि नवाचारी कार्यक्रम गढ़बो डिजिटल छत्तीसगढ़ में 15 से 60 आयु समूह के डिजिटल असाक्षरों को प्रशिक्षित ई-एजुकेटर द्वारा एक माह में डिजिटल उपकरणों के उपयोग करना सिखाया जाता है। डिजिटल साक्षरता के अंतर्गत कम्प्यूटर, मोबाइल सहित डिजिटल डिवाइस का संचालन, कम्प्यूटर के पुर्जे का उपयोग, मोबाइल फोन का उपयोग, टेबलेट की जानकारी एवं उपयोग, इंटरनेट का उपयोग, सर्च इंजन का उपयोग, ईमेल का परिचय, सोशल मीडिया, फेसबुक, ट्वीटर, व्हाटसअप का उपयोग करना सिखाया जाता है। इसी प्रकार विभिन्न सेवाओं का ऑनलाइन भुगतान, ऑनलाइन बुकिंग, रेल, बस टिकिट बुक करना, मोबाइल रिचार्ज, टीवी रिचार्ज, बिजली बिल इत्यादि का भुगतान और विभिन्न सेवाओं के लिए ऑनलाइन फार्म भरना सिखाया जाता है। विषय विशेषज्ञों द्वारा विभिन्न विषयों में पॉवर पाइंट प्रेजेन्टेशन के माध्यम से प्रशिक्षण प्रदान किया जाता है। डिजिटल साक्षरता के अलावा व्यक्तित्व विकास, चुनावी साक्षरता, वित्तीय साक्षरता, विधिक साक्षरता, श्रेष्ठ पालकत्व, आत्मरक्षा, कौशल विकास, नागरिक कर्त्तव्य, जीवन मूल्य आदि का भी प्रशिक्षण दिया जाता है। डिजिटल साक्षरता के कोर्स के पश्चात् जिले द्वारा आंतरिक मूल्यांकन किया जाता है।

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