अशोक गहलोत सरकार तैयार करेगी 8.5 लाख से ज्यादा कर्मचारियों का डाटाबेस

जयपुर. अशोक गहलोत सरकार (Ashok Gehlot Government) लोक कल्याणकारी योजनाओं (Public welfare schemes) को बेहतर ढंग से क्रियान्वयन (Execution) करने के लिए प्रदेश में कार्यरत सरकारी राज्य कर्मचारियों (Government state employees) का पूरा डाटाबेस (Database) बनाएगी. सीएम गहलोत का मानना है कि सरकार के कई कार्यक्रमों को संचालित करने के लिए सरकारी मशीनरी (Government machinery) में प्रशिक्षित कर्मचारियों (Trained staff) की जरूरत पूरा करने के लिए डाटाबेस ही काम में आता है. इसलिए सरकार डाटाबेस समस्या को जड़ से सुलझाएगी.

इसलिए अहम है डाटाबेस
सरकार स्टेट इंश्योरेंस व प्रोविडेंट फंड एसआईपीएफ के पास उपलब्ध डाटा और रिकॉर्ड से साढ़े 8 लाख से ज्यादा सरकारी कर्मचारियों का पूरा डाटाबेस बनाएगी. मुख्य सचिव डीबी गुप्ता ने आयोजना और कार्मिक विभाग को पूरी प्रभावी कार्ययोजना का खाका बनाने के निर्देश दिए हैं. अमूमन कई बार यह देखा गया कि जनगणना और निर्वाचन जैसे अहम कार्यक्रमों सहित महत्वपूर्ण कार्यों के लिए कर्मचारियों की तुंरत व्यवस्था करनी पड़ती है. उसमें यह डाटाबेस अहम होता है.

सरकार समस्या को जड़ से ही खत्म करना चाहती है

इससे पहले भी पिछली सरकार ने डाटाबेस बनाने की कोशिश की थी, लेकिन विभाग आधी अधूरी ही जानकारी दे पाए थे, इसलिए वह कार्ययोजना सिरे नहीं चढ़ पाई थी. अभी सरकार के पास कर्मचारियों का डाटाबेस आधा अधूरा है. लिहाजा सरकार डाटाबेस तैयार कर इस समस्या को जड़ से ही खत्म करना चाहती है.

मुख्य सचिव ने ली अधिकारियों की बैठक
सीएम अशोक गहलोत के निर्देशों की पालना के तहत मुख्य सचिव डीबी गुप्ता ने योजना को मूर्त रूप देने के निर्देश दे दिए हैं. मुख्य सचिव ने इस मसले को लेकर सचिवालय में आयोजना और कार्मिक विभाग के अधिकारियों के साथ अहम बैठक भी ली है. सीएम गहलोत चाहते हैं कि लोक कल्याणकारी योजनाओं का लाभ अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति को मिले और यह कार्य सरकारी कर्मचारी ही कर सकते हैं.

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