550वां प्रकाश पर्व : मंच की सरदारी पर 21 अक्तूबर को पांच सिंह साहिबान लेंगे फैसला
550वें प्रकाश पर्व पर सुल्तानपुर लोधी के ऐतिहासिक गुरुद्वारा श्री बेर साहिब में आयोजित मुख्य कार्यक्रम के मंच की सरदारी को लेकर उठे विवाद में पंजाब सरकार श्री अकाल तख्त के सामने नतमस्तक हो गई है। विवाद का निपटारा करने के लिए श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने 21 अक्तूबर को पांच सिंह साहिबान की बैठक बुलाई है।
तालमेल कमेटी में शामिल पंजाब सरकार के दोनों प्रतिनिधियों ने मंगलवार को जत्थेदार श्री अकाल तख्त साहिब के साथ बैठक की। इसमें मंत्रियों ने स्पष्ट कर दिया कि पांच सिंह साहिबान का जो भी आदेश होगा, पंजाब सरकार उसके आगे नतमस्तक होगी।
इसके बाद मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने ज्ञानी हरप्रीत सिंह से फोन पर बात कर पंजाब सरकार के श्री अकाल तख्त के हर आदेश को मानने के आश्वासन पर अपनी मोहर लगा दी है। मुख्यमंत्री ने जत्थेदार को उनके द्वारा लिए जाने वाले किसी भी निर्णय को सरकार द्वारा स्वीकार करने की वचनबद्धता दोहराई। दोनों के बीच दस मिनट से अधिक बातचीत हुई।
मंगलवार सुबह दोनों मंत्री श्री अकाल तख्त साहिब पहुंचे और जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह को कैप्टन अमरिंदर सिंह का एक बंद लिफाफे में रखा लिखित संदेश सौंपा।
एक घंटे चली बातचीत में दोनों ने तालमेल कमेटी बनने के बावजूद एक मंच पर धार्मिक कार्यक्रमों के आयोजन को लेकर सहमति न बन पाने पर अपना स्पष्टीकरण दिया। मंत्रियों ने प्रस्ताव रखा कि पंजाब सरकार के मंच पर साहिब श्री गुरु ग्रंथ साहिब की हाजिरी में पांचों तख्त साहिबान की जत्थेदार बैठे।
कार्यक्रम की अरदास श्री हरमंदिर साहिब के मुख्य अरदासिया साहिब करें। मुख्य मंच पर प्रधानमंत्री व राष्ट्रपति पहुंचेंगे, यह गणमान्य व्यक्ति पांचों सिंह साहिबान के साथ बैठें। इनके साथ पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह और एसजीपीसी अध्यक्ष भाई गोबिंद सिंह लौंगोवाल भी बैठें। बाकी संगत पंडाल में बैठे। इस पर ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने कहा कि वह पांच सिंह साहिबान की बैठक में इस पर विचार करेंगे।
वहीं दोनों मंत्रियों ने जत्थेदार से यह भी कहा कि एसजीपीसी अलग मंच और पंडाल पर 15 करोड़ की राशि खर्च कर रही है। एसजीपीसी को आदेश दिए जाएं कि वह इस धनराशि को सिख धर्म के प्रचार और अन्य कार्यों पर खर्च करे। एसजीपीसी के पीछे जो राजनीतिक पार्टी है, वह गुरु की गोलक की राशि खर्च करने के लिए दबाव बना रही है। भाई लौंगोवाल सिख कौम की प्रति जवाबदेह बने न कि एक परिवार की राजनीतिक पार्टी के प्रति वफादारी निभाएं।
जत्थेदार भी चाहते हैं सरकारी स्टेज पर हों कार्यक्रम: रंधावा
बैठक के बाद मीडिया से बातचीत में मंत्री रंधावा ने दावा किया कि जत्थेदार भी चाहते हैं कि श्री अकाल तख्त साहिब की अगुवाई में सरकार की स्टेज पर ही मुख्य कार्यक्रम हो। जत्थेदार से बहुत स्पष्ट बातचीत की गई है कि श्री गुरु नानक देव केवल सिख कौम के नहीं, जगत के गुरु है।
सरकार लोगों की चुनी हुई है। सरकार समागम के लिए जो स्टेज लगा रही है, वह भी आम लोगों के लिए है। बीते चार महीनों से सरकार टेंट सिटी, लंगर और अन्य सभी प्रबंध पूरे करने के लिए काम कर रही है। इनके बाद भी एसजीपीसी द्वारा प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति सहित कई धार्मिक व राजनीतिक गणमान्यों को अकेले जाकर न्योता दिया गया है। एसजीपीसी ने सरकार की अनदेखी की है।
सरकार ने तालमेल कमेटी की पहली बैठक में स्पष्ट कर दिया था कि सरकार मंच स्थापित करेगी। तब एसजीपीसी ने इस बात का कोई भी उल्लेख नहीं किया कि वह अलग स्टेज स्थापित करेगी। रंधावा ने बादल परिवार का नाम लिए बिना कहा कि एसजीपीसी द्वारा किए जा रहे प्रबंधों में जब राजनीतिक लोग शामिल हुए, तब एसजीपीसी ने पांव पीछे खींचकर कार्यक्रमों की चाबी नेताओं को सौंप दी।
गुरुद्वारा साहिब के भीतर आयोजित कार्यक्रम पर सरकार का कोई कंट्रोल नहीं
मंत्री रंधावा ने स्पष्ट किए कि सरकार गुरुद्वारा साहिब के भीतर होने वाले किसी भी समागम पर कंट्रोल नहीं करेगी। गुरुद्वारा साहिब के भीतर एसजीपीसी धार्मिक समागमों का आयोजन करे लेकिन गुरुद्वारा साहिब के बाहर मुख्य कार्यक्रम की जिम्मेदारी सरकार निभा रही है।
एसजीपीसी दलगत राजनीति से ऊपर उठकर गुरु नानक का संदेश का प्रचार करने में सार्थक भूमिका निभाए। उन्होंने कहा कि यदि एसजीपीसी सरकार की प्रस्ताव को स्वीकार नहीं करती तो उस पर निर्णय करने का अधिकार श्री अकाल तख्त साहिब का है, न की पंजाब सरकार का।
श्री अकाल तख्त साहिब की कोशिश होगी, समागम साझे स्टेज से हों : ज्ञानी हरप्रीत
श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने कहा कि प्रदेश सरकार ने साझा स्टेज का फैसला करने का अधिकार श्री अकाल तख्त साहिब को सौंप दिया है। 21 अक्तूबर को पांच सिंह साहिब की बैठक में इस मुद्दे पर विचार किया जाएगा। श्री अकाल तख्त साहिब की हर संभव कोशिश होगी कि प्रकाश पर्व के कार्यक्रम साझे स्टेज से मनाए जाएं।
प्रदेश सरकार के दोनों मंत्रियों सुखजिंदर रंधावा व चरनजीत चन्नी के साथ बैठक करने के बाद जत्थेदार ने कहा कि अकाल पुरख किरपा करेंगे। श्री अकाल तख्त सभी धड़ों को एक मंच पर कार्यक्रम आयोजित करने के लिए मना लेगा। मुख्यमंत्री ने श्री अकाल तख्त साहिब पर पूरा विश्वास दिलाया है, इसके लिए उनका धन्यवाद है।
जत्थेदार ने कहा कि एसजीपीसी सिखों की ओर से चुनी हुई संस्था है। उस पर सिख धर्म के धार्मिक सरोकारों व प्रचार की अपनी जिम्मेदारी है। इस पूरे मामले में एसजीपीसी का सम्मान बहाल रखा जाएगा। जत्थेदार ने एक बार फिर सभी राजनीतिक पार्टियों से प्रकाश पर्व पर कोई भी बयानबाजी न करने के आदेश जारी किए।
सिख विद्वान आगामी 50 वर्षों का सिख एजेंडा करेंगे तैयार
जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने कहा कि उन्होंने सिख विद्वानों, बुद्धिजीवियों व चिंतकों को एक घोषणा पत्र तैयार करने के आदेश जारी किए हैं। आगामी 50 वर्ष तक का एक एजेंडा तैयार किया जा रहा है। इस एजेंडे की पूर्ति के लिए किस ढंग से काम किया जाए ताकि सिख कौम की तरक्की कैसे हो उस पर सिखों के विचार जाने जाएं। विश्व भर की सभी गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटियां, सभा सोसाइटियां, शिक्षण संस्थाएं व अन्य नानक नाम लेवा इस संदर्भ में श्री अकाल तख्त साहिब को अपने विचार भेजे।