रेकी न कर पाने पर गैंग से निकाला गया रामनिवास

बरेली/दिल्ली। बॉलीवुड अभिनेत्री दिशा पाटनी के घर पर फायरिंग मामले में पुलिस जांच से चौंकाने वाले खुलासे हो रहे हैं। घटना की साजिश गोल्डी बराड़ और रोहित गोदारा गिरोह ने रची थी।

मुठभेड़ में दो बदमाश गिरफ्तार

शुक्रवार को शाही थाना क्षेत्र के किच्छा नदी पुल के पास एसओजी और पुलिस की संयुक्त टीम ने मुठभेड़ में दो बदमाशों को दबोचा। राजस्थान निवासी रामनिवास के पैर में गोली लगी, जबकि हरियाणा का अनिल भी पकड़ा गया। दोनों नेपाल भागने की फिराक में थे। रामनिवास पर 25 हजार रुपये का इनाम था और वह गैंग का सक्रिय सदस्य है।

नाबालिग शूटर भी शामिल

दिल्ली पुलिस ने बागपत निवासी दो नाबालिग आरोपियों को भी गिरफ्तार किया। दोनों ने पहले दिन 11 सितंबर को पाटनी के घर के बाहर फायरिंग की थी। डील चार से पांच लाख रुपये में तय हुई थी। इन दोनों पर बरेली पुलिस ने एक-एक लाख का इनाम घोषित किया है।

गैंग लीडर रविंद्र मारा गया

मुख्य शूटर और गैंग लीडर रविंद्र बरेली एनकाउंटर में मारा गया। वह खुले चेहरे से वारदात कर चुका था। पुलिस का मानना है कि रविंद्र का अति आत्मविश्वास ही उसकी मौत का कारण बना, जबकि रामनिवास की लापरवाही और सुस्ती ने उसकी जान बचा दी।

रेकी में असफल रहा रामनिवास

पुलिस पूछताछ में पता चला कि 11 सितंबर की रात करीब 3 बजे रामनिवास को पहली बार रेकी के लिए अकेले भेजा गया। वह घबरा गया और सही मकान चिन्हित नहीं कर पाया। इस पर गैंग लीडर रविंद्र नाराज हो गया और उसे ग्रुप से निकाल दिया। बाद में बागपत के दोनों नाबालिग फायरिंग करने पहुंचे।

पांचवें आरोपी की तस्दीक

सोनीपत में सीसीटीवी फुटेज से रामनिवास की पहचान हुई। वह अन्य आरोपियों के साथ बाइक की टंकी फुल कराते देखा गया था। होटल की आईडी से भी उसकी मौजूदगी की पुष्टि हुई।

पुलिस की आगे की कार्रवाई

एसएसपी अनुराग आर्य ने बताया कि बरेली पुलिस दिल्ली पुलिस से संपर्क में है। दोनों नाबालिग आरोपियों का बी वारंट लिया जाएगा। कोर्ट में पेशी के बाद कस्टडी रिमांड लेकर पूछताछ और बरामदगी की जाएगी।

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