वैशाख पूर्णिमा आज, पुण्य और सुख की प्राप्ति के लिए इन चीजों का करें दान

Vaishakh Purnima 2024 : सनातन धर्म में वैशाख पूर्णिमा का विशेष महत्व है। इस दिन भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की कृपा पाने के लिए व्रत किया जाता है, साथ ही विधिपूर्वक पूजा की जाती है। धर्मग्रंथों के अनुसार इस दिन कुछ चीजों का दान करने से जातक को कार्यक्षेत्र में सफलता हासिल होती है। मान्यता है कि श्रेष्ठ तिथि व उचित व्यक्ति को किया गया दान अत्यंत ही पुण्यफल प्रदान करने वाला होता है। ऐसा दान करने पर जातक को शुभ फलों की प्राप्ति होती है और वह जीवन के सभी सुखों को भोगता हुआ अंत समय में वैकुंठ लोक को प्राप्त होता है।

जल दान

वैशाख मास में बहुत ज्यादा गर्मी पड़ती है और इस समय आम आदमी से लेकर पशु-पक्षी तक गर्मी से बेहाल रहते हैं। ऐसे में यदि किसी प्यासे व्यक्ति या पशु-पक्षी को जल का दान किया जाए तो वह अत्यंत ही पुण्यफल प्रदान करने वाला होता है। स्कंद पुराण के अनुसार इस माह में और विशेष रूप से पूर्णिमा को जल दान का सर्वाधिक महत्व है ,जो पुण्य सब दानों से मिलता है और जो फल सब तीर्थों के दर्शन से प्राप्त होता है, उसी पुण्य और फल की प्राप्ति इस दिन जल का दान करने से हो जाती है।

प्याऊ लगाएं

जो व्यक्ति वैशाख माह में इस दिन सड़क पर यात्रियों के लिए प्याऊ लगाता है, वह विष्णुलोक में प्रतिष्ठित होता है। प्याऊ देवताओं, पितरों और ऋषि-मुनियों को अत्यंत प्रिय है। जो प्याऊ लगाकर थके हुए यात्रियों की प्यास बुझाने में उनकी सहायता करता है, उस पर ब्रह्मा, विष्णु और शिव सहित समस्त देवतागण प्रसन्न होकर अपना आशीर्वाद प्रदान करते हैं।

पंखा दान करना

धूप और परिश्रम से पीड़ित ब्राह्मण को जो पंखे से हवाकर शीतलता प्रदान करता है, वह  इतने ही मात्र से निष्पाप होकर भगवान का पार्षद हो जाता है। जो राह में थके हुए श्रेष्ठ द्विज को वस्त्र से भी हवा करता है, वह भगवान विष्णु का सामिप्य प्राप्त कर लेता है।

अन्न दान

अन्नदान मनुष्यों को शीघ्र ही पुण्य प्रदान करने वाला होता है, इसलिए संसार में अन्न के समान दूसरा कोई दान नहीं है। दोपहर में आए हुए ब्राह्मण मेहमान को या भूखे जीव को यदि कोई भोजन करवाएं तो उसको अनंत पुण्य की प्राप्ति होती है।

पादुका और चटाई

निद्रा से दुःख का नाश होता है,निद्रा से थकावट दूर होती है इसलिए जो मनुष्य तिनके या खजूर आदि के पत्तों से बनी हुई चटाई दान करता है,उसके सारे दुखों का नाश हो जाता है और परलोक में उत्तम गति को पाता है।

वस्त्र, फल और शर्बत

जो व्यक्ति वैशाख पूर्णिमा के दिन कपड़ों का दान करता है वह इसी जन्म में सब सुखों से संपन्न हो जाता है इसी प्रकार जो इस दिन फल और शर्बत का दान देता है उससे उसके पितृ प्रसन्न होकर आशीर्वाद प्रदान करते है और दान देने वाले के  सारे पाप कट जाते हैं। दही, खांड और चावल दान करने से मनुष्य को पूर्ण आयु और सम्पूर्ण यज्ञों का फल प्राप्त होता है।

घी

इस दिन किसी ब्राह्मण को या मंदिर में घी का दान करने वाला मनुष्य अश्वमेघ यज्ञ का फल पाकर विष्णुलोक में आनंद का अनुभव करता है।

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