अनसुलझा ही रह जाएगा लापता विमान एमएच 370 का रहस्य, बंद हुई प्लेन की तलाश

दुनिया के इतिहास में सबसे रहस्यमयी घटनाओं में से एक मलेशियाई विमान एमएच 370 के हादसे से जुड़ी खोजबीन अब पूरी तरह बंद कर दी गई है. करीब तीन साल पहले लापता हुए इस विमान की समुद्र के भीतर चल रही तलाश रोक दी गई है. पीड़ित परिवारों को ये सूचना दे दी गई है कि विमान की तलाश की कोशिशें अब बंद कर दी गईं हैं.

मंगलवार को एक बयान जारी कर इसकी घोषणा की गई. समाचार पत्र 'सिडनी हेराल्ड' के मुताबिक, ऑस्ट्रेलिया, मलेशिया और चीन की सरकारों ने संयुक्त बयान जारी कर कहा कि दक्षिणी हिंद महासागर में 120,000 वर्ग किलोमीटर के इलाके में चलाए गए तलाशी अभियान में लापता विमान का कोई सुराग नहीं मिला. इसके चलते अब इस तलाश अभियान को रोका जाता है. इसके अलावा एक अन्य समाचार-पत्र 'गार्जियन' के अनुसार, पीड़ितों के परिजनों को सूचित कर दिया गया है कि तलाश में कोई सफलता नहीं मिली और इसे बंद कर दिया गया है।

आठ मार्च, 2014 को बीजिंग से कुआलालंपुर की ओर जा रहा मलेशियन एयरलाइंस का विमान एमएच 370 लापता हो गया था. पिछले तीन वर्षों से लगातार इस विमान की तलाश चल रही थी. लापता विमान में 239 व्यक्ति सवार थे, जिनमें से किसी का पता नहीं चल सका है. इनमें चीन के 152 नागरिक और मलेशिया के 50 नागिरकों सहित ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, फ्रांस, हांगकांग, भारत, इंडोनेशिया, ईरान, नीदरलैंड्स, न्यूजीलैंड, रूस, ताइवान, यूक्रेन और अमेरिकी नागरिक भी शामिल थे. हादसे में लापता होने वालों में भारत की चंद्रिका शर्मा भी थीं.

मलेशिया के परिवहन मंत्री लियोव तियोंग लाई ने इसी महीने पीड़ित परिवारों द्वारा तलाशी अभियान जारी रखने की मांग ठुकरा दी थी. चेन्नई वासी चंद्रिका के पति के. एस. नरेंद्रन के हवाले से गार्जियन ने लिखा है कि ऐसा लग रहा है कि ये फैसला पहले ही ले लिया गया था. ये पीड़ित परिवारों के साथ विश्वासघात है, क्योंकि सरकार ने विमान को खोज निकालने का वादा किया था.

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