विदेशी उग्रवादियों को जगह दे रहे हैं स्थानीय आतंकवादी: कश्मीर IGP
कश्मीर के पुलिस महानिरीक्षक मुनीर अहमद खान ने कहा कि आतंकवाद विरोधी मोर्चे पर सुरक्षा बलों की कार्रवाई के कारण स्थानीय आतंकवादी छुप गए हैं. खान ने हालांकि कहा कि विदेशी आतंकवादी अब घाटी में अपनी उपस्थिति दर्ज़ कराने के लिए पूरा प्रयास कर रहे हैं.
उन्होंने कहा कि लश्कर–ए–तैयबा या हिजबुल मुजाहिदीन के शीर्ष कमांडरों के सफाए में सुरक्षाबलों के कामयाब रहने के कारण आतंकवादी छिप गए हैं और अस्तित्व के लिए अन्य तरीके खोज रहे हैं. खान ने कहा कि वो लोग छिप गए हैं और हमें ऐसी खबरें मिली हैं कि वो अधिक ऊंचाई वाले स्थानों पर चले गए हैं. इसके पहले वो रिहायशी इलाकों में स्वछंद घूमते थे लेकिन अब इस पर रोक लग गई है. उन्होंने अब ये स्थान विदेशी आतंकवादियों को दे दिया है.
खान यहां पुलिस नियंत्रण कक्ष परिसर में स्वच्छता अभियान से इतर संवाददाताओं से बातचीत कर रहे थे. उन्होंने कहा कि 26 अगस्त को पुलवामा मुठभेड़ में तीन आतंकवादियों की मौत के बाद भी जैश के एक या दो समूह अब दक्षिणी कश्मीर और श्रीनगर जिले के कुछ हिस्सों में सक्रिय हैं.
उन्होंने कहा कि कोई हाई अलर्ट नहीं है लेकिन पुलवामा घटना के बाद हमें और सतर्क रहना होगा. सुरक्षा बल शिथिल न हो जाएं इसलिए हमें अपने जवानों और अधिकारियों को नियमित रूप से सतर्क रहने के लिए कहना होगा. ये हमारे अभ्यास का हिस्सा है. पता लग जाने के भय से आतंकवादियों की ओर से मोबाइल फोन का इस्तेमाल नहीं किए जाने की रिपोर्टों पर खान ने कहा कि मोबाइल का उपयोग करें या नहीं, आतंकवादियों को प्रभावहीन कर दिया जाएगा.
उन्होंने कहा, 'हम 1990 से आतंकवाद का सामना कर रहे हैं. एक दौर था जब कोई मोबाइल फोन नहीं था लेकिन तब भी आतंकवादियों का सफाया किया गया. अब ऐसा दौर है जब मोबाइल फोन हैं और आतंकवादियों का सफाया किया जा रहा है. काम नहीं रुक जाता.' उन्होंने कहा कि अगर कोई एक चीज़ बंद हो जाती है तो दूसरी खुल जाती है और हम उस पर काम करते हैं. बारामूला के सांसद मुजफ्फर हुसैन बेग की पत्नी की ओर से कथित तौर पर जान से मारने की धमकी दिए जाने की एक स्थानीय दैनिक के संपादक की शिकायत पर प्राथमिकी दर्ज़ नहीं होने के बारे में पूछे गए सवाल पर खान ने कहा कि वो इस मामले पर गौर करेंगे.